सीएम मान का बड़ा ट्वीट, बोले-कौन दर्दी, कौन गद्दार? आज सारा हिसाब-किताब करना था…लेकिन अब तक राज करने वाले बहस से भाग गए, खाली कुर्सियों की तस्वीरें भी की शेयर
Punjab News Live -PNL
November 1, 2023
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लुधियाना, (PNL) : मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बहस में शामिल न होने पर विपक्ष को घेरा है।उन्होंने विरोधियों को भगोड़ा करार दिया है और कहा है कि पंजाब का दर्दी कौन है और गद्दार कौन है? आज सारा हिसाब-किताब होना था…लेकिन अब तक राज करने वाले बहस से ही भाग गए. उन्होंने कहा कि आज पूरे पंजाब के सामने कुर्सी के लालचियों की कुर्सियां खाली रह गईं। बता दें कि मैं पंजाब बोलदा हां…बहस में अकाली दल के प्रधान सुखबीर सिंह बादल, कांग्रेस के प्रधान राजा वड़िंग, प्रताप सिंह बाजवा और बीजेपी के प्रधान सुनील जाखड़ समेत किसी नेता ने आज हिस्सा नहीं लिया।
पंजाब के विभिन्न मुद्दों को लेकर पंजाब एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी में डिबेट 12:00 बजे शुरू हुआ। इस सीएम भगवंत मान ने एसवाईएल का मुद्दा उठाया और कांग्रेस और अकाली दल पर आरोप लगाए। सीएम एसवाईएल मुद्दे के बारे में बताते हुए कागजात दिखाए। जिसमें अभी तक के एसवाईएल को लेकर लिए गए फैसलों की बात की गई है। उन्होंने केंद्रीय मंत्री शेखावत को सुझाव दिया कि इस सतलुज यमुना नहर को यमुना सतलुज नहर (वाईएसएल) बना दिया जाए। सतलुज में अब पानी नहीं बचा। यमुना में अभी भी पानी है और उस पानी को हरियाणा और पंजाब को दिया जाए।
सीएम भगवंत मान ने ट्रांसपोर्ट का मुद्दा उठाते हुए अकाली दल की कुर्सी की तरफ इशारा किया। उन्होंने बताया कि इन्होंने गलत तरीकों से अपने रूट लिए। 31-31 किमी का रूट बढ़ाते बढ़ाते दूर-दूर तक पहुंच गए। दिल्ली एयरपोर्ट से प्राइवेट बसें चलती थी। 3500 रुपए किराया लिया जाता था। आप सरकार ने बसें चलाई और 1100 रुपए में दिल्ली एयरपोर्ट से बसें चलाई।
सीएम भगवंत ने कांग्रेस सरकार पर टोल प्लाजा लगाकर लोगों को लूटने के आरोप लगाया। वहीं कांग्रेस व अकाली दल के समय टोल प्लाजा बने।
ये टोल प्लाजे पहले बंद हो सकते थे, लेकिन इनकी तारीखें बढ़ाते रहे। आप ने सरकार के आने के बाद 14 टोल प्लाजे बंद करवाए गए। सीएम ने कहा कि विपक्षी मेरे से सवालों के जवाब मांगते रहते हैं, लेकिन आज ओपन डिबेट में शामिल होने क्यों नहीं पहुंचे। सीएम ने कहा कि इस ओपन डिबेट में हर सवाल का जवाब देने के लिए पहुंचा हूं, लेकिन विपक्ष की कुर्सी खाली पड़ी है।
सीएम भंगवत मान पंजाब पर कर्जे का जिक्र करते हुए भी पिछली सरकारों को घेरा हैं। सीएम कहा कि पंजाब के खजाने पर कर्जे का बोझ 2012 में डलना शुरू हो गया था। 2012 में 83099 करोड़ का कर्जा था, जो अब 3.14 करोड़ रुपए तक पहुंच गया है। कई पुरानी अदायगियां छोड़ी गई। जिसे अब धीरे-धीरे वापस किया जा रहा है।