जालंधर, (PNL) : फिल्लौर थाने के सस्पेंडेड एसएचओ भूषण कुमार के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है। दरअसल PNL ने सबसे पहले खुलासा किया था कि भूषण कुमार ने एक बच्ची के साथ थाने में गलत हरकतें की है। मामले में संज्ञान लेते हुए पंजाब राज्य महिला कमीशन ने एसएसपी देहाती हरविंदर सिंह विर्क को केस दर्ज करने के आदेश दिए थे। उसी के चलते पुलिस ने आज एसएचओ भूषण पर केस दर्ज कर लिया है।
SSP ने बताया कि ऑडियो-वीडियो के मद्देनजर भूषण कुमार के खिलाफ 504/सी.आर.पी.सी. के तहत रिपोर्ट दर्ज की गई है, साथ ही 334/14-10-2025, 75(1) बी.एन.एस., 67(डी) पुलिस एक्ट, 67-आई.टी. एक्ट के तहत कार्रवाई की गई है। वहीं इस मामले को लेकर जब भूषण कुमार से बात की गई तो उन्होंने मीडिया से दूरी बनाते हुए कहा कि वह इस मामले में कुछ नहीं कहना चाहते।
बता दें कि महिला आयोग की चेयरपर्सन राजलाली ने एसएसपी नोटिस जारी करते हुए भूषण कुमार के खिलाफ कार्रवाई को लेकर निर्देश दिए थे। उस नोटिस में भी PNL की खबर और वीडियो का हवाला दिया गया था।
जिसके बाद 13 नवंबर को दोनों पक्ष महिला आयोग की चेयरपर्सन राजलाली के समक्ष पेश हुए। इस दौरान एसएचओ भूषण के साथ डीएसपी बल भी मौजूद रहे। महिला आयोग की चेयरपर्सन ने दोनों पक्षों के सबूतों के बाद लड़कियों के साथ सेक्शुअल बातचीत के मामले में एसएचओ को जमकर लताड़ लगाई। महिला आयोग की चेयरपर्सन ने कहा कि वर्दी की आड़ में महिलाओं का शोषण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि अगर एसएचओ इस मामले में दोषी पाए गए तो वह खुद एसएचओ के खिलाफ सख्त एक्शन लेंगी। राजलाली ने डीएसपी को कहा कि हर थाने में महिला के साथ बातचीत सीसीटीवी कैमरे के सामने करने का प्रोसिजर है। जिसको लेकर महिला आयोग ने उच्च अधिकारियों से सीसीटीवी फुटेज की मांग की हैं। पीड़िताओं ने भी अपनी रिकार्डिंग्स महिला आयोग को सौंप दी हैं। जिसके सुनने के बाद महिला आयोग की चेयरपर्सन भड़क गई और कहा कि ये बेहद आपत्तिजनक हैं।
वहीं एसएचओ ने अपनी सफाई देते हुए कहा कि रेप केस में समझौता हो रहा था, इसलिए एफआईआर में देरी लग गई। वहीं फिल्लौर के गांव से पहुंचे सरपंच राकुमार ने बताया कि एसएचओ ने कहा कि रेप मामले में दोनों पार्टियों में राजीनामे पर बात चल रही थी। इसलिए इस केस में एफआईआर दर्ज करने में देरी हुई। हालांकि महिला कमीशन ने इस बात को सुनने के बाद कहा कि थाने में जब-जब राजीनामे को लेकर बात हुई है, उसकी सीसीटीवी फुटेज सौंपी जाएं।